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रविवार, 20 दिसंबर 2015

ऑलआउट

बाल कविता-221
ऑलआउट
मच्छर बाबू जल्दी आबू
आबि देखाबू तागत यौ
लोलक सूइया भोंकू बाबू
भाग अहाँकें जागत यौ
मोन भरि कऽ खूनो पीबू
दाम तकर नै लागत यौ
बजा रहल छी आइ अहाँकेँ
मच्छरदानी नै लागत यौ
दऽ रहल छी आइ चुनौती
नै छी हमहुँ पागल यौ
दम अछि तऽ आबि देखाबू
ऑलआउट अछि लागल यौ

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