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शुक्रवार, 23 अगस्त 2013

नाहकमे जान चलि जेतऽ

नाहकमे जान चलि जेतऽ

बौआ एते जगरणा जुनि कएल करऽ
आँखि लाल भऽ फूलि जेतऽ
यदि बल्ड प्रेशर बढ़ि जेतऽ
तँ नाहकमे जान चलि जेतऽ
अखबारक पन्ना जुनि चाटल करऽ
आइ-काल्हि ओतौ जहरे सन गप छपैत छै
फेर कोनो माहुर सन खबरि पढ़ि लेबऽ
तँ नाहकमे जान चलि जेतऽ
एखन बजारक चक्कर जुनि लगाएल करऽ
सगरो महगीक गनगुआरि सोहरैत भेटतऽ
जँ ओकरा देख तोरा मिरगी चढ़ि गेलऽ
आ छटपटाइत कतौ बाटपर खसि पड़बऽ
कोना दारूपिबा गाड़ि अपन होश हेरा देतऽ
तँ नाहकमे जान चलि जेतऽ
टेलीविजनक शीशाकेँ पर्दासँ झाँपि देल करऽ
यदि कोनो विभत्स दृश्य देखाइ पड़ि जेतऽ
तँ हृदयाघातसँ बचनाइ मोशकिल भऽ जेतऽ
वा कोनो नाँगट हिरोइनकेँ देख लेबऽ
तँ बेटीक चालि-चलनपर धियान लागल रहतऽ
वा साधुक नावालिक संग रेपक घटना देखबऽ
तँ तोहर खूना सए डिग्रीपर खौलऽ लागतऽ
आ तूँ ओकरे धाहमे जरि कऽ राख भऽ जेबऽ
बौआ दुनियाँ एहिना खरापकेँ मोजर दैत छै
तूँ खराप नै बनऽ आ नै देखल करऽ
यदि गलतकेँ देख कऽ बेसी कछमछेबऽ
तँ नाहकमे जान चलि जेतऽ

अमित मिश्र

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