अपन मिथिला पर हमरा गुमान सखिया
जतय पाहुन बनि एला भगवान सखिया
तुलसीचौरा सजल घर आँगन
माछ मखान भेटत भरि वासन
बहय कोशी आ कमला वलान सखिया
जतय पाहुन.... ......
बड़का छोटका ने अगड़ा ने पिछड़ा
हिलमिल रहय, ने ककरोसँ झगड़ा
संगे साँझ परातीकेँ गान सखिया
जतय पाहुन..........
धोती दोपटा आ पाग नीक लागय
लैते जनम ऐ ठाँ भाग बड जागय
अमित करैए एकर गुणगान सखिया
जतय पाहुन........
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