बाल कविता-10
किए आबै छें
तितली रानी ,तितली रानी
एते रंग कतऽसँ आनै छें
कतौ हरियर कतौ पियर
सुन्नर छीट कोना कऽ पाड़ै छें
कखनो तोड़ीपर नाच करै छें
कखनो गेनापर बैस गाबै छें
कखनो फँसि कऽ गुलाबक व्यूहमे
सुन्नर देह छीला कऽ कानै छें
फूल चूसि नै मधु बनबै छें
तखन किए फूल लऽग आबै छें
साँझ पड़िते नव-नव उपवनमे
आबि किए मोन लोभाबै छें
तूँ नेना तेँ गप नै बुझै छें
किए आबै छी ,प्रश्न करै छें
रंग लेबऽ लेल हम काँट सहै छी
तूँहूँ तँ हमरे देख खुश भऽ नाचै छें
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